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ओदेद महिलाओं और बच्चों को कैद से छुड़ाता है

नबी ओदेद महिलाओं और बच्चों को कैद करने के खिलाफ चेतावनी देता है |
योगदानकर्ता स्वीट पब्लिशिंग
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राजा अहाज (735-715 ईसा पूर्व) २० वर्ष की आयु में यहूदा का राजा बना। वह परमेश्वर को छोड़ कर बाल और अन्य झूठे देवताओं की आराधना करने लगा। देश के अन्य लोगों ने उसके दुष्ट उदाहरण का अनुसरण किया। – Slide número 1
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कई साल पहले, यहूदी लोग दो देशों में विभाजित हो गए थे। राजा अहाज इस्राएल के दक्षिण में यहूदियों पर शासन करता था, जबकि राजा पेकह इस्राएल के उत्तरी राज्य में यहूदियों पर शासन करता था। राजा आहाज और राजा पेकह दोनों को बाइबल में 'दुष्ट' शासकों के रूप में वर्णित किया गया है जिन्होंने परमेश्वर की आज्ञा नहीं मानी। – Slide número 2
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यहूदा पर आक्रमण करने और राजा अहाज के साथ युद्ध करने के लिए राजा पेकह ने अराम (सीरिया) के राजा रेजिन के साथ हाथ मिलाया। राजा अहाज इतना अनाज्ञाकारी था की परमेश्वर उसकी रक्षा करने के लिए उसके साथ नहीं था। – Slide número 3
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एक ही दिन में, इस्राएल और अराम की सेनाओं ने यहूदा के 120,000 सैनिकों को मौत के घाट उतार दिया। – Slide número 4
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जिक्री नामक एक एप्रैमी वीर ने मासेयाह नामक एक राजपुत्र को, और राजभवन के प्रधान अज्रीकाम को, और एलकाना को, जो राजा का मंत्री था, मार डाला। – Slide número 5
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राजा अहाज युद्ध में बच गया, लेकिन बड़ी संख्या में लोगों को पकड़ लिया गया और उन्हें अराम के दमिश्क में ले गए – Slide número 6
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इज़राइल की सेनाओं ने 200,000 यहूदी महिलाओं और बच्चों और बहुत सारी लूट पर कब्जा कर लिया। – Slide número 7
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इससे उन्हें कोई फर्क नहीं पड़ा कि महिला और बच्चे कैदी साथी यहूदी थे। इस्राएल की सेना ने उन्हें दास के रूप में बेचने के लिए इसराइल के सामरिया में वापस ले जाने की योजना बनाई। उनका इरादा उनके जानवरों और खजाने को चुराने का भी था। – Slide número 8
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महिलाओं और बच्चों को लूट के साथ उत्तर की ओर ले जाया गया। – Slide número 9
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उनमे से कई बूढ़े और कमजोर थे। कई लोग भूखे थे और उनके पास पर्याप्त कपड़े और जूतियाँ भी नहीं थे। – Slide número 10
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बंदियों को उत्तर की ओर ले जाने पर उन्हें एप्रैम की भूमि से होकर गुजरना पड़ा। – Slide número 11
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हालांकि एप्रैमियों ने अपने सैनिकों को लड़ने के लिए भेजा था, जब उन्होंने महिलाओं और बच्चों को कैदियों के रूप में देखा, तो उन्हें समझ आया कि यह सही काम नहीं हो सकता है। – Slide número 12
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सामरिया शहर में परमेश्वर का ओदेद नामक एक नबी था। परमेश्‍वर ने विजयी सैनिकों को एक संदेश देने के लिए ओदेद को भेजा<br/>वह बहादुरी से लौटती सेना से मिलने के लिए निकला। – Slide número 13
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उसने कहा, "परमेश्वर यहूदा से क्रोधित था, इसलिए उसने उनको तुम्हारे हवाले किया, लेकिन तुमने उन्हें बेरहमी से घात किया है जिसकी चिल्लाहट स्वर्ग तक पहुंच गई है।” – Slide número 14
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‘क्या तुम यहूदियों और यरूशलेमियों को अपने दास-दासी बना कर रखोगे ? क्या तुम ने भी अपने परमेश्वर यहोवा के विरोध में पाप नहीं किया ? इसलिये अब मेरी सुनो और अपने भाइयों को जिन्हें तुम बन्धुआ बना के ले आए हो, लौटा दो, यहोवा का क्रोध तुम पर भड़का है।’ – Slide número 15
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तब एप्रैमियों के कुछ हाकिमों अर्थात अजर्याह, बेरेक्याह, यहिजकिय्याह, अमासा ने खुलकर ओदेद का समर्थन किया <br/> – Slide número 16
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उन्होंने कहा, 'तुम इन बन्धुओं को यहां मत लाओ' <br/> क्योंकि यदि तुम ऐसा करते हो तो प्रभु हमसे क्रोधित होंगे, और उस से हमारा पाप और दोष बढ़ जाएगा <br/> हमारा दोष वैसे ही परमेश्वर के विरोध में बहुत बड़ा है <br/> – Slide número 17
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तब उन हथियार बन्धों ने बन्धुओं और लूट को हाकिमों और सारी सभा के साम्हने छोड़ दिया। तब उन चार पुरुषों ने उठ कर तुरंत महिलाओं और बच्चों को लूट में से खाना खिलाया और पानी पिलाया <br/> – Slide número 18
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जिन्हे कपड़ों और जूतियों की जरूरत थी, उन्हें कपडे और जूतियां पहनाई <br/> – Slide número 19
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उसके बाद वे निर्बल लोगों को गदहों पर चढ़ा कर, यहूदा के यरीहो नगर की ओर ले चले <br/> – Slide número 20
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उन्होंने महिलाओं और बच्चों को यरीहो नगर पहुँचाया और उन्हें अपने परिवार से मिलाया <br/> तब वे सामरिया को लौट आए। – Slide número 21
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और चूंकि, ओदेद ने बहादुरी से परमेश्वर के सन्देश को पहुंचाया, और एप्रेमियों के हाकिमों ने उसको समर्थन किया, २ लाख से ज्यादा महिलाओं और बच्चों  गुलामी से छुड़ाये गए और आज़ाद हुए <br/> – Slide número 22
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